Uttar Pradesh: इलाहाबाद हाईकोर्ट (Allahabad High Court) ने इंटर मीडिएट के बाद शिक्षक प्रशिक्षण का डिप्लोमा (Teacher Training Diploma) या डिग्री लेने वालों को सहायक (Basic Shiksha Sahayak Adhyapak) पद पर नियुक्ति के लिए योग्य मानते हुए चयनित याची शिक्षकों को एक माह में नियुक्ति पत्र जारी करने का आदेश दिया है।
बेसिक शिक्षा विभाग (Basic Shiksha Parishad) ने इनको नियुक्ति पत्र देने से यह कह कर इंकार कर दिया था कि उन्होंने स्नातक किए बिना ही शिक्षण प्रशिक्षण प्राप्त किया है इसलिए नियुक्ति के लिए अर्ह नहीं हैं।
सोनी व दो अन्य की याचिका पर न्यायमूर्ति सलिल कुमार राय ने यह आदेश दिया।
याचीगण के अधिवक्ता सीमांत सिंह का कहना था कि याचीगण ने 2019 की सहायक अध्यापक परीक्षा उत्तीर्ण की है।
बीएसए मैनपुरी (BSA Mainpuri) ने उनको यह कहते हुए नियुक्ति पत्र देने से इंकार कर दिया कि स्नातक की डिग्री के बिना प्रशिक्षण प्राप्त करने के कारण वह नियुक्ति की अर्हता नहीं रखते हैं।
अधिवक्ता का कहना था कि विक्रम सिंह व चार अन्य तथा सूरज कुमार त्रिपाठी केस में हाईकोर्ट ने इसका समाधान कर दिया है कि एनसीटीई की गाइड लाइन के अनुसार इंटर मीडिएट के बाद प्रशिक्षण डिप्लोमा करने वाले अभ्यर्थी सहायक अध्यापक (Assistant Teacher) नियुक्त होने के लिए अर्ह हैं।
ऐसे में बीएसए द्वारा नियुक्ति पत्र न देना अवैधानिक है। कोर्ट ने पूर्व में पारित आदेशों को दृष्टिगत रखते हुए याचीगण को एक माह में नियुक्तिपत्र जारी करने का आदेश दिया है।
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