Jaisalmer News: जिला विधिक सेवा प्राधिकरण के तत्वावधान में 03 नवंबर से 09 नवंबर तक आयोजित होने वाले विधिक सेवा सप्ताह का शुभारंभ समारोह राजस्थान उच्च न्यायालय के न्यायाधिपति मनोज कुमार गर्ग के मुख्य आतिथ्य में डीआरडीए हॉल में आयोजित किया गया।
उद्घाटन समारोह में न्यायाधिपति ने अपने उद्बोधन में कहा कि आम-जन को उनके हित में बनाये गये कानूनों की जानकारी प्रदान करने व विधिक सेवा कार्यक्रमों का लाभ पहुंचाने के लिए और अधिक प्रयास किये जाने की आवश्यकता है।
उन्होंने विधिक सप्ताह की शुभकामनाएं प्रकट करते हुए कहा कि सप्ताह के दौरान विधिक जागरूकता हेतु विधिक सेवा कार्यक्रम आयोजित किये जाकर आम-जन को लाभान्वित किया जावे।
उन्होंने यह भी कहा कि ऐसे कार्यक्रमों में मोटर व्हीकल एक्ट के प्रावधानों की जानकारी करायी जानी आवश्यक है क्योंकि आजकल देखने में आया कि युवा बिना हेलमेट के दुपहिया वाहन चलाते है और दुर्घटना के शिकार हो जाते है, जिसको रोका जाना चाहिए।
उन्होंने पर्यावरण संरक्षण पर बल देते हुए कहा कि पौधारोपण के पश्चात् पेड़ पौधों की परवरिश भी इसी प्रकार की जानी चाहिये जिस प्रकार एक बच्चे की, की जाती है। पेड़-पौधे न केवल प्रकृति का संतुलन बनाने में सहायक अपितु मानव व पशु पक्षियों के लिये भी लाभदायक है।
उन्होंने यह भी कहा कि नारी निकेतन, बाल सुधार गृह, कारागृहों व अन्य उचित स्थानों पर मेडिटेशन कैम्प किये जाने की भी आवश्यकता है।
जिला विधिक सेवा प्राधिकरण के अध्यक्ष आशुतोष कुमार मिश्रा ने इस अवसर पर विधिक सेवा संस्थाओं द्वारा किये जाने वाले विधिक सेवा कार्यक्रमों के बारे में बताते हुए कहा कि प्राधिकरण द्वारा लोक अदालत, स्थायी लोक अदालत व राष्ट्रीय लोक अदालत के माध्यम से न्यायालयों में लम्बित व प्रि लिटिगेशन स्टेज पर प्रकरणों का निस्तारण किया जाता है साथ ही स्थायी लोक अदालत द्वारा भी जन उपयोगी सेवा से संबंधित मामलों का निस्तारण किया जाता है।
उन्होंने इस अवसर पर मध्यस्थता के प्रावधान व राजस्थान पीड़ित प्रतिकर स्कीम के प्रावधानों के बारे में भी जानकारियां प्रदान की।
पुलिस अधीक्षक डॉ. किरण कंग ने इस अवसर पर कहा कि पुलिस विभाग द्वारा आयोजित सीएलजी बैठकों के माध्यम से जनता को नये-नये कानूनों की जानकारियां प्रदान की जाती है।
उन्होंने कहा कि विधिक सेवा कार्यक्रमों में पुलिस विभाग के सहयोग में किसी प्रकार की कमी नहीं आने दी जायेगी।
अतिरिक्त जिला कलेक्टर ओमप्रकाश विश्नोई ने सरकार द्वारा संचालित विभिन्न प्रकार की जन कल्याणकारी योजनाओं की जानकारी व प्रक्रिया के बारे में बताया।
बार अध्यक्ष मुल्तानाराम बारूपाल ने इस अवसर पर कहा कि विधिक सेवा प्राधिकरण द्वारा संचालित किये जाने वाले सभी प्रकार के कार्यक्रमांे में अधिवक्तागण अपनी सक्रिय भूमिका व सहयोग प्रदान कर रहे है तथा भविष्य में भी किया जाता रहेगा। उन्होंने विधिक जागरूकता कार्यक्रमों को आमजन के लिये उपयोगी बताया।
सचिव शरद तंवर ने कार्यक्रम का संचालन करते हुए बताया कि विधिक सेवा प्राधिकरण अधिनियम 09 नवम्बर, 1995 को पूरे देश में प्रभावी रूप से लागू होने के कारण प्रतिवर्ष 09 नवम्बर को राष्ट्रीय विधिक सेवा दिवस के रूप में मनाया जाता है जिसके तहत राज्य प्राधिकरण के निर्देशानुसार विधिक सेवा सप्ताह का आयोजन किया जा रहा है।
उन्होंने प्राधिकरण द्वारा संचालित किये गए विभिन्न प्रकार के जागरूकता कार्यक्रमों व अभियानों से भी अवगत कराया तथा इनके संबंध में लघु वृत्त चित्र भी प्रदर्शित किये। उन्होंने माननीय न्यायाधिपति को आश्वस्त किया कि आमजन में विधिक चेतना जगाने के लिये श्रीमान्जी द्वारा दिये गए सुझावों की पालना करते हुए विधिक चेतना कार्यक्रमों में किसी प्रकार की कमी नहीं रखी जाएगी एवं प्राधिकरण के स्तर पर भरसक प्रयास किये जाएंगे।

कार्यक्रम के पश्चात् न्यायालय परिसर में न्यायाधिपति द्वारा पौधारोपण किया गया तथा शिक्षा व चिकित्सा विभाग के सहयोग से विधिक जागरूकता रैली को भी न्यायाधिपति ने हरी झण्डी दिखाकर रवाना किया।
उद्घाटन समारोह में जिले के न्यायिक व प्रशासनिक अधिकारीगण, बार संघ के विद्वान अधिवक्तागण, सामाजिक कार्यकर्ताओं, एनजीओ के सदस्यगण आदि उपस्थित थे।